TS Singhdev’s Allegations are Misleading and Baseless: अम्बिकापुर : पूर्व उपमुख्यमंत्री टीएस सिंहदेव के भ्रामक और आधारहीन आरोपों का जवाब देते हुए भाजपा जिलाध्यक्ष भारत सिंह सिसोदिया ने कहा कि श्री सिंहदेव की नकारात्मक और तथ्यहीन बयानबाजी केवल राजनीतिक कुंठा का परिणाम है। केंद्र और छत्तीसगढ़ की भाजपा सरकार ने किसानों की समृद्धि और प्रदेश के विकास के लिए ऐतिहासिक कदम उठाए हैं।
अपने प्रतिक्रिया पर श्री सिसोदिया ने बताया, कि वर्ष 2024-25 में केंद्र सरकार ने छत्तीसगढ़ के लिए 5,000 करोड़ रुपये की कृषि सहायता प्रदान की, जिसमें से 1,200 करोड़ रुपये सरगुजा संभाग के लिए आवंटित किए गए हैं। पीएम-किसान योजना के तहत सरगुजा के 2.5 लाख किसानों को प्रतिवर्ष 6,000 रुपये की आर्थिक सहायता सीधे उनके खातों में दी जा रही है। नैनो-डीएपी और नैनो-यूरिया जैसी नवाचार योजनाओं ने खाद की लागत 30% तक कम की है, जिससे पर्यावरण-अनुकूल खेती को बढ़ावा मिला है।

TS Singhdev’s Allegations are Misleading and Baseless
छत्तीसगढ़ में भाजपा सरकार ने खरीफ 2024-25 में 21 क्विंटल प्रति एकड़ धान की खरीद 3,100 रुपये प्रति क्विंटल की दर से सुनिश्चित की, जिससे लाखों किसानों को लाभ हुआ। ‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ के तहत सरगुजा में 29 मई से 12 जून 2025 तक 500 गांवों में किसान प्रशिक्षण शिविर आयोजित किए गए, जिसमें 20,000 किसानों ने हिस्सा लिया।
आगे उन्होंने कहा कि, टीएस सिंहदेव ने सरगुजा में डीएपी और यूरिया की कमी का आरोप लगाया, जो पूरी तरह भ्रामक है।खरीफ 2025 के लिए छत्तीसगढ़ में डीएपी का कुल आवंटन 1.5 लाख मीट्रिक टन है, जिसमें से सरगुजा के लिए 24,000 टन का लक्ष्य है। 17 जून 2025 तक, सरगुजा में 3,946.24 टन डीएपी (16.44%) और 10,804 टन यूरिया (48%) उपलब्ध कराया गया है।

जून 2025 के अंत तक, अतिरिक्त 10,000 टन डीएपी और 12,000 टन यूरिया की आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है, जिससे 80% से अधिक लक्ष्य पूरा होगा।सरगुजा में 5,000 टन नैनो-डीएपी का वितरण शुरू हो चुका है, जो पारंपरिक उर्वरकों का प्रभावी विकल्प है। अब तक 1.25 लाख मीट्रिक टन यूरिया, 40,000 मीट्रिक टन डीएपी, 15,000 मीट्रिक टन पोटाश, और 75,000 क्विंटल बीज सहकारी समितियों के माध्यम से किसानों तक पहुंच चुके हैं।खाद वितरण की प्रक्रिया को डिजिटल पोर्टल के माध्यम से पारदर्शी बनाया गया है, और 90% किसानों को समय पर खाद-बीज उपलब्ध हुआ है।सरगुजा की 12 समितियों में से 8 में इफको और 6 में डीएपी का स्टॉक उपलब्ध है, और शेष में जून के अंत तक आपूर्ति पूरी हो जाएगी।
कालाबाजारी रोकने के लिए सख्त कार्रवाई की जा रही है, जो कांग्रेस शासनकाल में अपने चरम पर थी। सिंचित भूमि को असिंचित घोषित करने का दावा भ्रामक है l सिंहदेव का दावा कि 40,000 हेक्टेयर सिंचित भूमि को असिंचित घोषित किया गया, तथ्यों से परे है।
आगे उन्होंने कहा कि सरगुजा में श्याम घुनघुट्टा, कुंवरपुर, और बरनई परियोजनाओं से 13,200 हेक्टेयर, अन्य एनीकटों से 2,500 हेक्टेयर, और स्टॉप डैम से 8,300 हेक्टेयर भूमि सिंचित है। सम्बंधित बैंक के पोर्टल में तकनीकी त्रुटि के कारण कुछ क्षेत्र असिंचित दर्शाए गए, जिसे 30 जून 2025 तक सुधार लिया जाएगा।फसल बीमा योजना के तहत सरगुजा के 95% किसानों को प्रीमियम का लाभ मिला, और 25,000 किसानों को 60 करोड़ रुपये का मुआवजा वितरित किया गया।धान खरीदी में सिंचित-असिंचित का अंतर केवल तकनीकी वर्गीकरण के लिए है, और इसका किसानों की आय पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में रूस और युक्रेन के भीषण युद्धकाल में जहाँ पुरे विश्व में उर्वरक संकट है वहां भारत सरकार द्वारा किसानो के लिए सभी प्रकार के उर्वरकों की व्यवस्था एवं उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक कदम उठाये हैँ l
फसल बीमा योजना पर उन्होंने बताया कि भाजपा सरकार ने पूरे प्रदेश में 1,234 करोड़ रुपये से अधिक का मुआवजा DBT के माध्यम से वितरित किया l सिंहदेव का दावा कि केसीसी ऋण वितरण केवल 30% हुआ, आंशिक और भ्रामक है।2024-25 में छत्तीसगढ़ में 15 लाख किसानों को 12,000 करोड़ रुपये का केसीसीसी ऋण वितरित हुआ, जिसमें सरगुजा के 1.8 लाख किसानों को 1,500 करोड़ रुपये मिले।सरगुजा में 80% से अधिक पात्र किसानों को केसीसी का लाभ मिला, और 50,000 नए केसीसी कार्ड जारी किए गए।2024-25 में केसीसी ऋण वितरण में पिछले वर्ष की तुलना में 25% की वृद्धि हुई।डिजिटल प्लेटफॉर्म के माध्यम से केसीसी आवेदन और वितरण प्रक्रिया को सरल किया गया है।‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ के तहत अन्य बैंकों से ऋण लेने वाले किसानों को भी खाद-बीज की उपलब्धता सुनिश्चित की गई l
श्री सिंहदेव के छोटे किसानों को चेंम्प योजना का लाभ नहीं मिला, कहना तथ्यहीन है।2024-25 में सरगुजा में 10,000 छोटे और सीमांत किसानों को माइक्रो न्यूट्रीएंट्स, स्प्रेयर, और बीज निःशुल्क वितरित किए गए।छोटे किसानों के लिए 50 करोड़ रुपये और बड़े किसानों के लिए 30 करोड़ रुपये आवंटित किए गए, जो छोटे किसानों पर सरकार के फोकस को दर्शाता है l राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन और राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के तहत 5,000 किसानों को 50% अनुदान पर उन्नत बीज और उपकरण दिए गए।
सरगुजा में 2,000 हेक्टेयर भूमि को जैविक खेती के लिए चिह्नित किया गया, जिसमें छोटे किसानों को प्राथमिकता दी गई। 1,000 कृषि मेलों में छोटे किसानों को सस्ते दामों पर उन्नत बीज और यंत्र उपलब्ध कराए गएl
भारत सिंह सिसोदिया ने कहा कि जहाँ तक श्रीमती रेणुका सिंह और श्रीमती लता उसेंडी का प्रश्न है — भाजपा में योग्य कार्यकर्ताओं का सम्मान होता रहा है और उचित समय पर उन्हें जिम्मेदारी भी सौंपी गई है, साथ ही भाजपा में “पद माँगने से नहीं, पात्रता से मिलती हैं”, यह कांग्रेस की तरह दरबारी संस्कृति नहीं है।
श्री सिंह देव को चिंता करने की ज़रूरत नहीं — उन्हें आत्मचिंतन करना चाहिए। टीएस सिंहदेव की ऐसी भ्रामक बयानबाजी केवल नकारात्मकता और राजनीतिक हताशा को दर्शाती है।
यह भी पढ़ें-जि.पं.सदस्य दिव्या सिंह सिसोदिया ने करम्हा में किया अंबेडकर चौक का भूमि पूजन