Chhattisgarh Liquor Scam: अम्बिकापुर :छत्तीसगढ़ के चर्चित शराब घोटाले के मामले में एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) और आर्थिक अपराध शाखा (EOW) ने शनिवार सुबह एक व्यापक छापेमारी अभियान चलाया। राज्य के पांच अहम शहर-सुकमा, जगदलपुर, दंतेवाड़ा, अंबिकापुर और रायपुर-में एक साथ 15 से अधिक स्थानों पर रेड की गई, जिससे राजनीतिक और व्यावसायिक क्षेत्रों में भारी हलचल मच गई।

Chhattisgarh Liquor Scam किन जगहों पर हुई छापेमारी?
जानकारी के अनुसार, यह कार्रवाई पूर्व मंत्री कवासी लखमा और उनके सहयोगियों के साथ-साथ कुछ प्रमुख व्यापारिक ठिकानों पर केंद्रित थी। छापेमारी के दौरान कई महत्वपूर्ण दस्तावेज, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, नकदी और अन्य सबूत जब्त किए गए हैं। संबंधित लोगों से पूछताछ भी की गई है।
छापेमारी का उद्देश्य
ACB-EOW की यह कार्रवाई शराब घोटाले की गहराई से जांच करने के लिए की गई है। एजेंसियां यह पता लगाने में लगी हैं कि इस घोटाले में कौन-कौन शामिल थे और अवैध लेन-देन के कौन से नेटवर्क जुड़े हुए हैं। छापेमारी के दौरान कई अहम सुराग मिले हैं, जिनकी जांच जारी है।
राजनीतिक प्रतिक्रिया
इस कार्रवाई के बाद राज्य की राजनीतिक पार्टियों में तनाव बढ़ गया है। विपक्ष ने सरकार पर आरोप लगाया है कि वह दोषियों को बचाने की कोशिश कर रही है, जबकि सरकार का कहना है कि जांच निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से चल रही है और दोषियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे।

छत्तीसगढ़ शराब घोटाले का संक्षिप्त परिचय
यह मामला पिछले कुछ वर्षों से सुर्खियों में है, जिसमें आरोप हैं कि राज्य में शराब ठेकों के संचालन में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार हुआ है, जिससे सरकार को भारी वित्तीय नुकसान उठाना पड़ा। इस मामले में कई वरिष्ठ अधिकारी, राजनेता और कारोबारी संदेह के दायरे में हैं।
आगे की संभावित कार्रवाई
एजेंसियां जब्त किए गए सबूतों की गहन जांच कर रही हैं। आने वाले दिनों में और भी लोगों से पूछताछ की संभावना है और कुछ गिरफ्तारियां भी हो सकती हैं। जांच एजेंसियों ने स्पष्ट किया है कि दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
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